Bollywood Movie Lyrics in Hindi,
Hindi Movie Song Lyrics in Hindi,
Classic,Old,New Bollywood Songs Lyrics Hindi , Indian Movie Lyrics in Hindi Font हिंदी गाने - हिंदी गीत लिरिक्स हिंदी में
बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला, पाँव में घुंगरू बांध के नाचे, जपे राम की माला, बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला।। सिया राम ही राम पुकारे, हनुमत जाए असुर सब मारे, सीता की सुध लेने खातिर, क्या से क्या कर डाला, बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला। पाँव में घुंगरू बांध के नाचे, जपे राम की माला, बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला।। ऋषि मुनियों ने ध्यान लगाया, तुझे जहाँ सिमरु वहां पाया, मुझ पर कृपा करो बजरंगी, लाल लंगोटे वाला, बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला। पाँव में घुंगरू बांध के नाचे, जपे राम की माला, बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला।। तुझसा देव नहीं कोई दानी, तेरी महिमा ना जाए बखानी, सब पर कृपा करो बजरंगी, लाल लंगोटे वाला बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला। तेरा निशिदिन ध्यान लगाऊं, तुझे सुमेरु तंह तंह पाऊँ ‘बंशीधर’ का तुम बजरंगी, रात दिवस रखवाला, बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला। पाँव में घुंगरू बांध के नाचे,जपे राम की माला, बजरंग बाला जय हो बजरंग बाला।।
दोहा : भकत बड़े बलवान तुम्ही हो, सालासर हनुमान तुम्ही हो । आया हूँ मैं दर पे, तुझको आज पुकारा । पावो में घुंघरू बाँध के नाचे, मेरा बजरंग प्यारा ॥ छम छम नाचे देखो वीर हनुमना । कहेते है लोग इसे राम का दीवाना ॥ पाँवो मे घुंगूरू बाँध के नाचे , रामजी का नाम इन्हे बड़ा प्यारा लागे । राम ने भी देखो इसे खूब पहचाना, छम छम नाचे देखो वीर हनुमना ॥ जहाँ जहाँ कीर्तन होता श्री राम का, लगता है पहेरा वहाँ वीर हनुमान का । राम के चरण मे है इनका टिकना, छम छम नाचे देखो वीर हनुमना ॥ नाच नाच प्रभु श्री राम को रिझवे, ‘बनवारी’ रात दिन नाचता ही जाए । भक्तो मे भक्त बड़ा, दुनिया ने माना, छम छम नाचे देखो वीर हनुमना ॥ श्रेणीहनुमान भजन
है आँख वो जो श्याम का दर्शन किया करे, है शीश जो प्रभु चरण में वंदन किया करे । बेकार वो मुख है जो व्यर्थ बातों में, मुख है वो जो हरी नाम का सुमिरन किया करे ॥ हीरे मोती से नहीं शोभा है हाथ की, है हाथ जो भगवान् का पूजन किया करे । मर के भी अमर नाम है उस जीव का जग में, प्रभु प्रेम में बलिदान जो जीवन किया करे ॥ ऐसी लागी लगन, मीरा हो गयी मगन । वो तो गली गली हरी गुण गाने लगी ॥ महलों में पली, बन के जोगन चली । मीरा रानी दीवानी कहाने लगी ॥ कोई रोके नहीं, कोई टोके नहीं, मीरा गोविन्द गोपाल गाने लगी । बैठी संतो के संग, रंगी मोहन के रंग, मीरा प्रेमी प्रीतम को मनाने लगी । वो तो गली गली हरी गुण गाने लगी ॥ राणा ने विष दिया, मानो अमृत पिया, मीरा सागर में सरिता समाने लगी । दुःख लाखों सहे, मुख से गोविन्द कहे, मीरा गोविन्द गोपाल गाने लगी । वो तो गली गली हरी गुण गाने लगी ॥ श्रेणीकृष्ण भजन
आ लौट के आजा हनुमान, तुम्हे श्री राम बुलाते हैं। जानकी के बसे तुममे प्राण, तुम्हे श्री राम बुलाते हैं॥ लंका जला के सब को हरा के तुम्ही खबर सिया की लाये। पर्वत उठा के संजीवन ला के तुमने लखन जी बचाए। हे बजरंगी बलवान, तुम्हे हम याद दिलाते हैं॥ पहले था रावण एक ही धरा पे, जिसको प्रभु ने संघारा। तुमने सवारे थे काज सारे, प्रभु को दिया था सहारा। जग में हे वीर सुजान भी तेरे गुण गाते हैं॥ है धरम संकट में धर्म फिर से, अब खेल कलयुग ने खेले। हैं लाखों रावण अब तो यहाँ पे, कब तक लड़े प्रभु अकेले। जरा देख लगा के ध्यान, तुम्हे श्री राम बुलाते हैं॥ है राम जी बिन तेरे अधूरे, अनजानी माँ के प्यारे। भक्तो के सपने करने को पूरे, आजा पवन के दुलारे। करने जग का कल्याण, तुम्हे श्री राम बुलाते हैं॥
राम नाम के हीरे मोती, मैं बिखराऊं गली गली । ले लो रे कोई राम का प्यारा, शोर मचाऊं गली गली ॥ दोलत के दीवानों सुन लो एक दिन ऐसा आएगा, धन योवन और रूप खजाना येही धरा रह जाएगा । सुन्दर काया माटी होगी, चर्चा होगी गली गली, ले लो रे कोई राम का प्यारा, शोर मचाऊं गली गली ॥ प्यारे मित्र सगे सम्बंधी इक दिन तुझे भुलायेंगे, कल तक अपना जो कहते अग्नि पर तुझे सुलायेंगे । जगत सराय दो दिन की है, आखिर होगी चला चली, ले लो रे कोई राम का प्यारा, शोर मचाऊं गली गली ॥ क्यूँ करता है तेरी मेरी, छोड़ दे अभिमान को, झूठे धंदे छोड़ दे बन्दे जप ले हरी के नाम को । दो दिन का यह चमन खिला है, फिर मुरझाये कलि कलि, ले लो रे कोई राम का प्यारा, शोर मचाऊं गली गली ॥ जिस जिस ने यह हीरे लुटे, वो तो मला माला हुए, दुनिया के जो बने पुजारी, आखिर वो कंगाल हुए । धन दौलत और माया वालो, मैं समझाऊं गली गली, ले लो रे कोई राम का प्यारा, शोर मचाऊं गली गली ॥ श्रेणीराम भजन
श्री राम जानकी बैठे हैं मेरे सीने मैं shree ram janki baithe hain mere seene me नहीं चलाओ बाण व्यंग के ऐह विभीषण ताना ना सेह पाऊं, क्यों तोड़ी है यह माला, तुझे ए लंकापति बतलाऊं मुझ में भी है तुझ में भी है, सब में है समझाऊं ऐ लंका पति विभीषण ले देख मैं तुझ को आज दिखाऊं - जय श्री राम - श्री राम जानकी बैठे हैं मेरे सीने में, देख लो मेरे मन के नागिनें में । मुझ को कीर्ति न वैभव न यश चाहिए, राम के नाम का मुझ को रस चाहिए । सुख मिले ऐसे अमृत को पीने में, श्री राम जानकी बैठे हैं मेरे सीने में ॥ अनमोल कोई भी चीज मेरे काम की नहीं दिखती अगर उसमे छवि सिया राम की नहीं राम रसिया हूँ मैं, राम सुमिरन करू, सिया राम का सदा ही मै चिंतन करू । सच्चा आंनंद है ऐसे जीने में श्री राम, श्री राम जानकी बैठे हैं मेरे सीने में ॥ फाड़ सीना हैं सब को यह दिखला दिया, भक्ति में हैं मस्ती बेधड़क दिखला दिया । कोई मस्ती ना सागर मीने में, श्री राम जानकी बैठे हैं मेरे सीने में ॥
मीठे रस से भरी रे राधा रानी लागे meethe ras se bhari raadha raani laage मीठे रस से भरी रे, राधा रानी लागे, मने कारो कारो जमुनाजी रो पानी लागे | यमुना मैया कारी कारी राधा गोरी गोरी | वृन्दावन में धूम मचावे बरसाना री छोरी | व्रज्धाम राधाजू की रजधानी लागे || कान्हा नित मुरली मे टेरे सुमरे बरम बार | कोटिन रूप धरे मनमोहन, तऊ ना पावे पार | रूप रंग की छबीली पटरानी लागे || ना भावे मने माखन-मिसरी, अब ना कोई मिठाई | मारी जीबड़या ने भावे अब तो राधा नाम मलाई | वृषभानु की लाली तो गुड़धानी लागे || राधा राधा नाम रटत है जो नर आठों याम | तिनकी बाधा दूर करत है राधा राधा नाम | राधा नाम मे सफल जिंदगानी लागे || श्रेणीकृष्ण भजन
कभी फुर्सत हो तो जगदम्बे, निर्धन के घर भी आ जाना | जो रूखा सूखा दिया हमें, कभी उस का भोग लगा जाना || ना छत्र बना सका सोने का, ना चुनरी घर मेरे टारों जड़ी | ना पेडे बर्फी मेवा है माँ, बस श्रद्धा है नैन बिछाए खड़े || इस श्रद्धा की रख लो लाज हे माँ, इस विनती को ना ठुकरा जाना | जो रूखा सूखा दिया हमें, कभी उस का भोग लगा जाना || जिस घर के दिए मे तेल नहीं, वहां जोत जगाओं कैसे | मेरा खुद ही बिशोना डरती माँ, तेरी चोंकी लगाऊं मै कैसे || जहाँ मै बैठा वही बैठ के माँ, बच्चों का दिल बहला जाना | जो रूखा सूखा दिया हमें, कभी उस का भोग लगा जाना || तू भाग्य बनाने वाली है, माँ मै तकदीर का मारा हूँ | हे दाती संभाल भिकारी को, आखिर तेरी आँख का तारा हूँ || मै दोषी तू निर्दोष है माँ, मेरे दोषों को तूं भुला जाना | जो रूखा सूखा दिया हमें, कभी उस का भोग लगा जाना || श्रेणी दुर्गा भजन
यह तो प्रेम की बात है उधो, बंदगी तेरे बस की नहीं है। यहाँ सर देके होते सौदे, आशकी इतनी सस्ती नहीं है॥ प्रेम वालों ने कब वक्त पूछा, उनकी पूजा में सुन ले ए उधो। यहाँ दम दम में होती है पूजा, सर झुकाने की फुर्सत नहीं है॥ जो असल में हैं मस्ती में डूबे, उन्हें क्या परवाह ज़िन्दगी की। जो उतरती है चढ़ती है मस्ती, वो हकीकत में मस्ती नहीं है॥ जिसकी नजरो में है श्याम प्यारे, वो तो रहते हैं जग से न्यारे। जिसकी नज़रों में मोहन समाये, वो नज़र फिर तरसती नहीं है॥
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